सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर दिल्ली में 11000 हज़ार बसों की अनिवार्यता है लेकिन इस वक्त दिल्ली सरकार के बेड़े में 5594 बसें हैं जिनमें डीटीसी और कलस्टर बसें शामिल हैं। दिल्ली के परिवहन विभाग ने 2000 बसों का ऑर्डर कर दिया है जो अगले कुछ महीनों में दिल्ली की सड़कों पर उतर जाएंगी। लेकिन फिर भी दिल्ली को ढाई हज़ार बसों की और ज़रुरत होगी जिसकी पार्किंग की समस्या दिल्ली सरकार के सामने है।
दिल्ली सरकार में परिवहन मंत्री कैलाश गहलोट ने दिल्ली के उपराज्यपाल को ख़त लिखा है जिसमें उन्होंने उपराज्यपाल से अनुरोध किया है कि वो डीडीए को निर्देश दें कि अथॉरिटी दिल्ली सरकार को ज़मीन मुहैय्या कराए ताकि दिल्ली सरकार के पास बसों को खड़ा करने की पर्याप्त जगह मौजूद रहे जिससे नई बसों की खरीद में किसी भी तरह की कोई दिक्कत ना आए।
हम उम्मीद करते हैं कि उपराज्यपाल महोदय डीडीए को निर्देशित करेंगे और सरकार को बसों की पार्किंग के लिए ज़मीन आवंटित कराएंगे- कैलाश गहलोट, परिवहन मंत्री दिल्ली सरकार
उपराज्यपाल को लिखे अपने ख़त में मंत्री कैलाश गहलोट ने कहा कि ‘दिल्ली सरकार के पास 5594 बसों के अलावा ऑर्डर दी गई 2000 बसों की पार्किंग के लिए तो जगह मौजूद है लेकिन और नई बसों की खरीद के लिए सरकार को 135 एकड़ ज़मीन की और ज़रुरत है। इसके अलावा दिल्ली सरकार ने डीडीए को 90 करोड़ रुपए की राशि भी जमा करा दी है लेकिन अभी तक उसके एवज में डीडीए ने दिल्ली सरकार को ज़मीन आवंटित नहीं की है।
— Kailash Gahlot (@kgahlot) November 13, 2017
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